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बदल गए बैंक में घरेलू धन हस्तांतरण से जुड़े ये नियम, यहां जानें DMT के नये रूल्स

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Ishwar Khatri
Ishwar Khatri
ईश्वर एक वैश्विक अर्थशास्त्री, इंटरनल ऑडिटर तथा अंतर्राष्ट्रीय बैंकिंग. बीमा, वित्तीय विश्लेषक हैं, वे भारत तथा मध्य-पूर्व (खाड़ी) देशो, यूरोप, एशिया-प्रशांत (APAC), अमेरिका स्थित बिजनेस कॉर्पोरेट हाउस और कंपनियों मे फायनेंस कन्ट्रोल, फायनेंस एनालिस्ट, इन्वेस्टमेंट प्लानिंग, आतंरिक अंकेक्षण, डिजिटल ट्रांसफोर्मेशन, एकाउंटिंग एंड फायनेंस के लिये इंटरप्राएसेस रिसौर्स प्लानिंग, EPM and SaaS कन्सल्टिंग जैसी सेवाओं को देने के लिये कुल 24 वर्षो का अनुभव रखते हैं |

Domestic Money Transfer New Rules: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने हाल ही में एक्सचेंज फर्मों के लिए घरेलू धन हस्तांतरण पर एक नया ढांचा जारी किया है।

बैंक में Domestic Money Transfer (DMT) से जुड़े नियमों में बदलाव कर नये नियम नंवबर 2024 से लागू कर दिए गए हैं।

बैंक में Domestic Money Transfer के नये नियम

RBI ने एक्सचेंज फर्मों के लिए DMT के नये नियम जारी किए है, जो 1 नवंबर 2024 से प्रभावी हो गए हैं।

इसके चलते बैंकिंग सेवाओं, भुगतान प्रणालियों पर ध्यान केंद्रित करते हुए अपने ग्राहक को जानिए (KYC) रिकॉर्ड मानक सख्त हो गए हैं।

अपडेटेड नियमों को वर्तमान वित्तीय कानून के पालन की गारंटी देने और घरेलू धन हस्तांतरण की सुरक्षा बढ़ाने के लिए डिज़ाइन किया गया है।

Domestic Money Transfer New Rules
Domestic Money Transfer New Rules

कैशलेस और डिजिटल लेनदेन के चल रहे विकास के साथ ये कदम भारत के भीतर Domestic Money Transfer के लिए एक मजबूत और सुरक्षित ढांचा प्रदान करेगा।

नई KYC आवश्यकताएं, धोखाधड़ी और दुरुपयोग को रोकने के लिए सख्त केवाईसी पर आरबीआई के रुख के अनुरूप हैं।

भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा जारी निर्देश

  • नकद भुगतान सेवा के लिये दिशा निर्देश – अब से प्रेषक बैंक लाभार्थी के नाम और पते का रिकॉर्ड अपने ग्राहकों से प्राप्त करेगा और रखेगा।
  • नकद प्राप्ति सेवा के लिये दिशा निर्देश – प्रेषक बैंक या व्यवसाय प्रतिनिधि (बीसी) समय-समय पर संशोधित मास्टर डायरेक्शन – नो योर कस्टमर (अपने ग्राहक को जाने) डायरेक्शन 2016 में निर्दिष्ट एक सत्यापित मोबाइल फोन नंबर और एक स्व-प्रमाणित ‘आधिकारिक तौर पर वैध दस्तावेज़ (OVD)’ का उपयोग करके ही प्रेषक (रेमिटर) को पंजीकृत करेंगे।
  • प्रमाणीकरण का अतिरिक्त कारण – प्रेषक बैंक द्वारा प्रत्येक लेनदेन को अतिरिक्त प्रमाणीकरण कारक (AFA) द्वारा मान्य किया जाएगा।
  • आयकर अधिनियम, 1961 – नकदी जमा करने वाले बैंकों और उनके व्यवसाय प्रतिनिधि (बीसी) को नकद जमा के संबंध में आयकर अधिनियम 1961 के प्रावधानों और उसके तहत जारी नियमों/विनियमों (समय-समय पर संशोधित) का पालन करना होगा।
  • प्रेषक विवरण – प्रेषक बैंक को आईएमपीएस/एनईएफटी के ट्रांजेक्शन टेक्स्ट मेसेज के हिस्से के रूप में रेमिटर के विवरण को शामिल करना होगा।
  • नकद आधारित प्रेषण – लेन-देन संदेश में नकद-आधारित प्रेषण (Cash Based Remittance) के रूप में अमाउंट हस्तांतरण की पहचान करने के लिए एक पहचानकर्ता शामिल करना होगा।

धनराशि स्थानांतरित करने के लिए सीमाएं निर्धारित

5 अक्टूबर, 2011 की आरबीआई अधिसूचना के अनुसार बैंकों को वॉक-इन ग्राहकों को धनराशि स्थानांतरित करने के लिए कुछ सीमाएं निर्धारित की गई हैं।

एक ग्राहक शाखा में अधिकतम 50,000 रुपये की धनराशि एनईएफटी के माध्यम से भेज सकता है।

इसके अतिरिक्त बैंक ऐसे ग्राहकों को बीसी और एटीएम के माध्यम से प्रति लेनदेन अधिकतम 5,000 रुपये और महीने में कुल 25,000 रुपये स्थानांतरित करने की अनुमति देते हैं।

Domestic Money Transfer New Rules
Domestic Money Transfer New Rules

इसके लिए, ग्राहकों को अपनी पहचान के लिए न्यूनतम जानकारी जैसे नाम और पूरा पता प्रदान करना आवश्यक है।

हालांकि, कार्ड-टू-कार्ड ट्रांसफर पर ये दिशा-निर्देश लागू नहीं होते हैं।

ऐसे ट्रांजेक्शन को पहले से निर्धारित दिशा-निर्देशों के अनुसार नियंत्रित किया जाएगा।

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