Sadhvi Pragya BJP Congress: 31 जुलाई 2025 को मालेगांव बम ब्लास्ट केस में एनआईए की विशेष अदालत ने फैसला सुनाया।
बीजेपी नेता और पूर्व सांसद साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर, रिटायर्ड लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद पुरोहित और रिटायर्ड मेजर रमेश उपाध्याय समेत सभी 7 आरोपियों को बरी कर दिया।
17 साल बाद फैसला आया है, लेकिन इसी के साथ राजनीतिक विवाद भी शुरू हो गया है।
भाजपा इसे “हिंदुओं को फंसाने की साजिश” बता रही है, जबकि कांग्रेस ने मामले को शांत करने की कोशिश की है।
दूसरी तरफ फैसले के बाद साध्वी प्रज्ञा भावुक हो गईं और उनकी आंखों से आंसू छलक पड़े।
आइए जानते हैं उन्होंने मीडिया से क्टया कहा..
17 साल तक अपमानित किया गया
साध्वी प्रज्ञा ने फैसले के बाद कहा,
“मुझे 17 साल तक अपमानित किया गया। मेरा जीवन बर्बाद कर दिया गया। मुझे आतंकवादी बताया गया और 13 दिनों तक प्रताड़ित किया गया। यह जीत भगवा और हिंदुत्व की जीत है। ‘हिंदू आतंकवाद’ का झूठ अब खत्म हो गया है।”
उन्होंने आगे कहा,
“मैं एक साध्वी थी, लेकिन मुझे झूठे आरोपों में फंसाया गया। भगवा को बदनाम करने के लिए एक षड्यंत्र रचा गया। लेकिन मैं आज फैसले के दिन कोर्ट में मौजूद रहीं, क्योंकि मैं न्यायालय के प्रति सम्मान रखती हूं।”
Addressing the judge in the NIA Court, Sandhvi Pragya Singh says, “I said this from the very beginning that those who are called for investigation there should be a basis behind that. I was called by them for investigation and was arrested and tortured. This ruined my whole life.… https://t.co/GNyiAclNoF pic.twitter.com/zSxIYurGX0
— ANI (@ANI) July 31, 2025
“मैं देशभक्त सैनिक हूं” – कर्नल पुरोहित
रिटायर्ड लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद पुरोहित ने कहा, “मैं एक सच्चा देशभक्त हूं, लेकिन कुछ लोगों ने मेरी निष्ठा का गलत इस्तेमाल किया। मैंने देश के लिए सेवा दी, लेकिन झूठे आरोपों में फंस गया। आज न्याय मिला है। जय हिंद!”
Col. Purohit and Sadhvi Pragya were wrongly implicated in #malegaonblastcase by then Congress government along with the Anti Bharat forces who were hell bent to set the false narrative of Saffron terror to shield Islamic Terrorism. Today after years of fighting the truth came out… pic.twitter.com/KqYbVM6fd0
— God (@Indic_God) July 31, 2025

भाजपा नेताओं ने दी बधाई, कांग्रेस पर साधा निशाना
भोपाल की पूर्व सांसद साध्वी प्रज्ञा ठाकुर के मालेगांव ब्लास्ट केस में बरी होने पर भाजपा नेताओं ने उन्हें बधाई दी है।
साथ ही, कांग्रेस पर “हिंदू आतंकवाद” का झूठा आरोप लगाने का आरोप लगाया है।
भाजपा नेताओं ने कहा – ‘सत्य की जीत’, कांग्रेस मांगे माफी
सभी आरोपियों के दोषमुक्त होने के बाद राजनीतिक बहस तेज हो गई है।
भाजपा इसे कांग्रेस की “झूठी साजिश” बता रही है, जबकि कांग्रेस नेताओं ने अदालत के फैसले को स्वीकार करते हुए अन्य मुद्दों पर चर्चा करने की बात कही है।
भाजपा विधायक उषा ठाकुर ने कहा – “यह सत्य की जीत है, किसी निर्दोष को फंसाया नहीं जा सकता।”
वहीं, भोपाल के विधायक रामेश्वर शर्मा ने कांग्रेस और दिग्विजय सिंह पर निशाना साधते हुए कहा –
“कांग्रेस ने हिंदुओं को बदनाम किया, अदालत ने साबित कर दिया कि हिंदू आतंकवाद झूठ था। कांग्रेस को हिंदुओं से माफी मांगनी चाहिए।”

दिग्विजय ने कहा था हिंदू आतंकवाद
दरअसल, कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने इस मामले में 2010 में “हिंदू आतंकवाद” शब्द का इस्तेमाल कर विवाद खड़ा किया था।
जबकि इस दौरान BJP इसे लगातार “झूठा नैरेटिव” बताती रही है।
उमा भारती और अमित मालवीय ने दी प्रतिक्रिया
भाजपा की वरिष्ठ नेता उमा भारती ने सोशल मीडिया पर लिखा – “भोपाल की पूर्व सांसद साध्वी प्रज्ञा आज निर्दोष साबित हुईं। प्रज्ञा जी को बधाई और न्यायालय का अभिनंदन।”
#WATCH | Bhopal: On NIA Court acquits all accused in 2008 Malegaon blast case including Sadhvi Pragya, Former Madhya Pradesh CM Uma Bharti says, “…I am so happy that I do not have words to express. When Pragya was in the Nashik jail, I learned through a police officer that she… pic.twitter.com/b9l8oOaknZ
— ANI (@ANI) July 31, 2025
वहीं, भाजपा आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए लिखा –
“कांग्रेस ने वोटबैंक की राजनीति के लिए ‘भगवा आतंकवाद’ का झूठा नैरेटिव गढ़ा और निर्दोषों पर केस थोपे।”
कमलनाथ ने कहा – ‘अदालत का फैसला आ चुका है’
मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता कमलनाथ ने कहा – “अदालत ने फैसला दे दिया है, अब इस पर बहस क्यों?
साध्वी प्रज्ञा और अन्य हिंदुओं को एनआईए अदालत द्वारा दी गई क्लीन चिट को चुनौती दी जानी चाहिए – कांग्रेस नेता कमलनाथ
अगर वे मुसलमान होते, तो यही लोग “सत्यमेव जयते” का नारा लगा रहे होते।
जब भी किसी मामले में मुस्लिम बरी होता है तब यह लोग सत्यमेव जयते लिखते हैं और कहते हैं कि इस… pic.twitter.com/YJLOSxIIMQ
— 🇮🇳Jitendra pratap singh🇮🇳 (@jpsin1) July 31, 2025
दिग्विजय सिंह बोले- आतंकवाद का धर्म नहीं होता
“आतंकवाद का कोई धर्म नहीं होता, न हिन्दू आतंकवाद होता है और न मुस्लिम आतंकवाद होता है. हर धर्म प्रेम और सद्भावना सिखाता है”
“आतंकवाद का कोई धर्म नहीं होता, न हिन्दू आतंकवाद होता है और न मुस्लिम आतंकवाद होता है. हर धर्म प्रेम और सद्भावना सिखाता है”: @digvijaya_28 #MalegaonBlast #MalegaonVerdict pic.twitter.com/8B6rBGeFDH
— Shivam Pratap Singh (@journalistspsc) July 31, 2025
कौन हैं साध्वी प्रज्ञा
- पूरा नाम- प्रज्ञा चंद्रपाल सिंह ठाकुर
- उम्र: 55 साल
- जन्म: 2 फरवरी 1970,
- जन्म स्थानः भिण्ड, मध्य प्रदेश
- पिता: डॉ. चंद्रपाल सिंह, आयुर्वेद डॉक्टर और RSS कार्यकर्ता
बचपन से ही टॉमबॉय रहीं
- बचपन से ही टॉमबॉय जैसी रहीं, छोटे बाल रखती थीं और लड़कों जैसे कपड़े पहनती थीं।
- करीब 14 साल की उम्र में RSS की ओर झुकाव हो गया और कॉलेज में ABVP से जुड़ीं।
- पढ़ाई पूरी होने के बाद सूरत में आश्रम बनाया और अपने परिवार को वहीं बुला लिया।
- बाइक चलाना बहुत पसंद था। उनके नाम पर रजिस्टर्ड बाइक से मालेगांव धमाके का आरोप था।
- 27 दिसंबर, 2007 में RSS प्रचारक सुनील जोशी की हत्या का भी आरोप है।
- 23 अक्टूबर, 2008 को मालेगांव केस में आतंकवाद के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।

राजनीतिक में एंट्री
- 1993 में RSS की छात्र शाखा ABVP में शामिल हुईं। इसके बाद राज्य सचिव के पद तक पहुंचीं।
- 1997 में ABVP छोड़ने के बाद राष्ट्रवादी सेना और हिंदू जागरण मंच के लिए काम किया।
- हिंदू संगठन बजरंग दल की महिला शाखा दुर्गा वाहिनी की सदस्य भी रहीं।
- RSS से जुड़े संगठन वंदे मातरम जन कल्याण समिति की संस्थापक सदस्य भी हैं।
- 2019 में BJP में शामिल हुईं और भोपाल से कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह को हराकर सांसद बनीं।
- 21 नवंबर, 2019 में लोकसभा में डिफेंस संबंधित परामर्श समिति का सदस्य बनाया गया।
- संसद में नाथूराम गोडसे (गांधीजी के हत्यारे) को देशभक्त कहने वाली टिप्पणी की थी।
- 28 नवंबर, 2019 को रक्षा समिति और भाजपा संसदीय दल की बैठकों से बर्खास्त कर दिया गया।
2008 मालेगांव ब्लास्ट केस क्या था?
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29 सितंबर 2008 को महाराष्ट्र के मालेगांव में रमजान के महीने में एक भीषण बम धमाका हुआ था।
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इस धमाके में 6 लोगों की मौत हुई और 100 से ज्यादा लोग घायल हुए थे।
- यूपीए सरकार ने इस मामले में हिंदू आतंकवाद का आरोप लगाते हुए साध्वी प्रज्ञा और अन्य पर केस बनाया था।
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महाराष्ट्र ATS ने जांच शुरू की और हिंदू संगठनों से जुड़े कुछ लोगों को आरोपी बनाया गया।
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साध्वी प्रज्ञा ठाकुर, लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद पुरोहित, रमेश उपाध्याय समेत 7 लोगों पर आरोप लगे थे।
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17 साल बाद NIA कोर्ट ने सभी आरोपियों को बरी कर दिया, क्योंकि गवाहों ने अपने बयान पलट दिए और पुख्ता सबूत नहीं मिले।
#WATCH | Malegaon Blast case verdict | Mumbai: Accused Sudhakar Dhar Dwivedi’s lawyer Ranjeet Sangle says, “… After 17 years, the verdict is out. All the accused have been acquitted. There was no proof that the motorcycle used in the blast was of Sadhvi Pragya Singh Thakur’s.… pic.twitter.com/H7EbMiTEgA
— ANI (@ANI) July 31, 2025
क्यों बरी हुए आरोपी?
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गवाहों ने बयान बदल दिए – कोई भी चश्मदीद गवाह अदालत में अपने पुराने बयान पर कायम नहीं रहा।
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फॉरेंसिक रिपोर्ट्स कमजोर – बम में इस्तेमाल सामग्री का आरोपियों से सीधा संबंध साबित नहीं हुआ।
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NIA ने भी सबूत नहीं जुटाए – जांच एजेंसी आरोप साबित करने में नाकाम रही।

अब क्या होगा?
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राजनीतिक माहौल गरमाया हुआ – भाजपा नेता कांग्रेस को घेर रहे हैं, जबकि कांग्रेस ने मामले को शांत करने की कोशिश की है।
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NIA फैसले पर सवाल? – कुछ लोगों को लगता है कि सच सामने नहीं आया, जबकि दूसरे इसे न्याय की जीत मान रहे हैं
अब देखना है कि NIA इस केस में आगे अपील करेगी या नहीं।


