Rahul Gandhi Life in danger: लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने पुणे की एक अदालत में चल रहे मानहानि मामले में “जान को खतरा” होने का दावा किया, लेकिन कुछ ही घंटों बाद उनके वकील ने यह कहते हुए यू-टर्न ले लिया कि यह अर्जी बिना राहुल की सहमति के दाखिल की गई थी।
यह मामला वीर सावरकर के पौत्र सात्यकि सावरकर द्वारा दायर मानहानि केस से जुड़ा है, जिसमें राहुल पर गांधी हत्याकांड से जुड़े संवेदनशील बयानों को लेकर आरोप लगाए गए हैं।
क्या हुआ पुणे कोर्ट में?
-राहुल गांधी के वकील मिलिंद दत्तात्रेय पवार ने अदालत में अर्जी दाखिल कर कहा कि सात्यकि सावरकर की “वंशानुगत पृष्ठभूमि” (गोडसे-सावरकर परिवार से संबंध) को देखते हुए राहुल को जान का खतरा है।
लेकिन, कुछ घंटों बाद वकील ने अपना बयान वापस लेते हुए कहा कि यह अर्जी राहुल की जानकारी के बिना दाखिल की गई थी और वे इसे वापस ले रहे हैं।
अगली सुनवाई कब?
पुणे की विशेष अदालत ने इस मामले की अगली सुनवाई 10 सितंबर को तय की है। वकील के अर्जी वापस लेने के बाद अब देखना होगा कि राहुल की सुरक्षा को लेकर कोई नया आवेदन दाखिल होता है या नहीं।
क्या कहा था राहुल ने
“महात्मा गांधी की हत्या एक सोची-समझी साजिश थी। ऐसे पारिवारिक इतिहास को देखते हुए मुझे नुकसान पहुंचने या गलत तरीके से फंसाए जाने का खतरा है।”
राहुल ने यह भी कहा कि “सच्चा हिंदू कभी हिंसक नहीं होता, नफरत नहीं फैलाता।”
इस बयान के बाद बीजेपी नेताओं ने उन पर हिंदू समुदाय का अपमान करने का आरोप लगाया।

सावरकर पर विवादित बयान की पृष्ठभूमि
लंदन भाषण पर मानहानि का केस
मार्च 2023 में राहुल गांधी ने लंदन में एक भाषण में दावा किया था कि वीडी सावरकर ने अपनी किताब में लिखा था कि उन्होंने और उनके दोस्तों ने एक मुस्लिम व्यक्ति की पिटाई की थी और इससे उन्हें खुशी हुई थी।
इस भाषण के बाद सत्यकी सावरकर (सावरकर के परिवार से जुड़े व्यक्ति) ने राहुल के खिलाफ मानहानि का मामला दर्ज कराया।

अकोला रैली में सावरकर को ‘अंग्रेजों का नौकर’ बताया
नवंबर 2022 में, भारत जोड़ो यात्रा के दौरान अकोला में राहुल गांधी ने एक चिट्ठी दिखाते हुए कहा था कि सावरकर ने अंग्रेजों को खुद को उनका “नौकर” बताते हुए माफी मांगी थी। उन्होंने कहा –
“गांधी, नेहरू और पटेल कई साल जेल में रहे, लेकिन उन्होंने ऐसी कोई चिट्ठी नहीं लिखी। सावरकर ने डर के मारे ऐसा किया।”
इस बयान के बाद महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश में कई बीजेपी नेताओं ने उनके खिलाफ मानहानि के मामले दर्ज कराए।

सुप्रीम कोर्ट ने लगाई फटकार
26 अप्रैल को सुप्रीम कोर्ट ने राहुल गांधी को फटकार लगाते हुए कहा कि “स्वतंत्रता सेनानियों के खिलाफ अनाप-शनाप बयान देने की इजाजत नहीं दी जा सकती।”
कोर्ट ने चेतावनी दी कि अगर वे फिर ऐसा बयान देंगे, तो संज्ञान लिया जाएगा। हालांकि, कोर्ट ने ट्रायल कोर्ट के समन पर रोक लगा दी।
यूपी में भी मानहानि का केस
लखनऊ के एक वकील नृपेंद्र पांडे ने जून 2023 में राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि का केस दर्ज कराया था।
उन पर आरोप है कि उन्होंने सावरकर को “अंग्रेजों का नौकर” और “पेंशनभोगी” कहकर समाज में नफरत फैलाई।

राहुल गांधी का यह मामला राजनीतिक और ऐतिहासिक विवादों से जुड़ा है।
सावरकर और गांधी-हत्या के मुद्दे पर दोनों पक्षों के बीच तनाव बना हुआ है।
अब देखना होगा कि अदालत इस मामले में क्या फैसला लेती है।