Khandwa Mashal Rally Accident: खंडवा में 13 साल पहले हुए एक हत्याकांड की बरसी के मौके पर गुरुवार को आतंकवाद के खिलाफ एक बड़ी मशाल रैली निकाली जा रहा थी।
इसी दौरान खंडवा के घंटाघर चौक पर मसाल जुलूस के दौरान एक बड़ा हादसा हो गया। जहां मशाल बुझाने के दौरान आग भड़क गई और कई लोग झुलस गए।
मशाल बुझाते वक्त हुआ हादसा
दरअसल जुलूस की समाप्ति के बाद जब सभी अपनी मशालो कि आग बुझा रहे थे तो कुछ मशाले उल्टी हो गई और उनमें जो बुरादा और तेल था, उससे आसपास की मशालें भभक गईं। इससे वहां घेरा बनाकर खड़े लोग झुलस गए।
आग फैलते देख पीछे खड़े कुछ लोगों ने अपनी जलती मशाल फेंकना शुरू कर दी। जो वहां पर मौजूद लोगों पर गिरी। जिससे अफरातफरी मच गई।
घायलों को फौरन जिला अस्पताल लाया गया। घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस और प्रशासन के अधिकारी जिला अस्पताल पहुंचे और घायलों का हाल चाल जाना।




30 से ज्यादा झुलसे, महिला और बच्चे भी शामिल
इस घटना में करीब 30 से ज्यादा लोग झुलस गए, इनमें पुरुषों के साथ ही महिला और बच्चे भी शामिल ही।
घटना के कुछ वीडियोज भी सामने आए हैं, जिनमें सभी घबराए हुए नजर आ रहे हैं।
मामूली रूप से झुलसे तकरीबन 18 लोगों को इलाज के बाद छुट्टी दे दी गई। वहीं 12 लोग अस्पताल में अभी भी इलाज कर रहे हैं।
प्रशासन की सूझ-बूझ से टला हादसा
गनीमत है कि समय रहते प्रशासन ने एक बड़ी घटना होने से टाल दी। वरना बड़ी संख्या में मशाल लिए लोग इस रैली में शामिल थे।
अगर आग और विकराल रूप लेती तो कई लोग और भी इस आग की चपेट में आ जाते।
इस आयोजन में शामिल होने हैदराबाद कि गोशामहाल विधानसभा से विधायक टी राजा और भाजपा नेता नाजिया इलाही खान भी खंडवा आए थे।
जिम्मेदार कौन?
बताया जा रहा है कि मशाल में लकड़ी का बुरादा और कपूर का चूरा था, जिससे आग और ज्यादा भड़क गई।
जुलूस में एक हजार मशाल थी। जिनमें से करीब 200 मशाले ही जला पाए थे।
ऐसे में सवाल उठता है कि इतनी बड़ी संख्या में लोग और आग भड़कने की सामग्री के साथ जरूरी सावधानियां क्यों नहीं बरती गई?
आखिर इस घटना के लिए कौन जिम्मेदार है?